नीलम स्टोन किस धातु में पहने – Neelam Stone Kis Dhatu Me Pahne

नीलम स्टोन किस धातु में पहने – Neelam Stone Kis Dhatu Me Pahne

 

नीलम स्टोन किस धातु में पहने – Neelam

 Stone Kis Dhatu Me Pahne

नीलम स्टोन (neelam ratna kis dhatu me pahne) किस धातु में पहने लोगों के मन में यह सवाल अक्सर उन्हें सताता रहता है, आज हम इस लेख के माध्यम से जानने का प्रयास करेंगे कि नीलम स्टोन उनको किस धातु में हम धारण करना चाहिए या पहनना चाहिए जिसे उन्हें अधिक से अधिक लाभ प्राप्त हो एवं उनकी परेशानियों का खात्मा भी जल्द से जल्द हो।

इसे भी पढ़े:- मोती रत्न कैसे धारण करें 

 

 

neelam stone kis dhatu me pahne, neelam ratna kis dhatu me pahne, neelam ratna kis dhatu me dharan karen, neelam ratna dharan karne ke fayde, neelam ratna pehne ke fayde, neelam ratna kis dhatu me pahanna chahiye, नीलम स्टोन किस धातु में पहने, नीलम स्टोन किस उंगली में पहने, नीलम स्टोन किस दिन पहने, नीलम स्टोन किस धातु में पहनना चाहिए, नीलम रत्न धारण करने के फायदे
neelam stone kis dhatu me pahne

 

 

 

प्राचीन काल से ही हमारे पूर्वजों के द्वारा विभिन्न प्रकार के धातुओ का उपयोग भिन्न भिन्न तरीके से किया जाता रहा है, ऐसा माना जाता है, कि मनुष्यों के द्वारा सबसे प्रथम बार तांबा धातु का इस्तमाल सर्वप्रथम किया गया था। तत्पश्चात समय बितने के क्रम में विभिन्न प्रकार की धातुओ की खोज की गई तब जाकर आज हमें विविध प्रकार के धातुओ की जानकारी प्राप्त हुई lअभी ज्ञात धातुओं की संख्या 91 मानी गई है, किंतु भविष्य में यह संख्या बढ़ कर अनगिनत हो सकती है, धातुओ में बहुत से गुण पाए जाते हैं, तथा मानव सभ्यता के पूरे इतिहास में सर्वाधिक रुप से प्रयुक्त पदार्थों के रूप में धातु ही हैl

(neelam ratna kis dhatu me dharan karen)  हर एक धातु की अपनी एक विशिष्टता होती है, जिसके वजह से उसके विशिष्ट गुणों का उपयोग कर लोग विभिन्न प्रकार की आभूषण, सजावट के चीजें, मूर्तियां आदि उपयोग में लाते हैंl सोने से बनी हुई चीजों की अद्भुत खासियत होती है lवह बहुत चमकदार होते हैंl अपने चमक से हमारे आंखों को मनोरम दृश्य प्रदान करने की छमता रखते हैं, इसमें अजीब सा आकर्षण होता है, इसी वजह से यह धातु बहुत महंगा भी माना जाता हैl इस धातु को धारण करने से विभिन्न प्रकार के लाभ हमें प्राप्त होते हैं, ऐसा माना जाता है, कि इस धातु को धारण करने से हमारा तेज बढ़ता है, हमारा शरीर बलवान होता है।

इसे भी पढ़े:- मोती रत्न के चमत्कारी फायदे असली नकली की पहचान, एवं धारण करने की श्रेष्ठ विधि?

(neelam ratna dharan karne ke fayde)  चांदी जिसकी चमक असीम शांति प्रदान करती है, तथा मन में शीतलता का भाव उत्पन्न करती हैl तांबा जो कि विद्युत का सुचालक होता है, तथा इसका उपयोग शरीर को ऊर्जावान बनाने के लिए किया जाता हैl ऐसी चमत्कारिक शक्तियां धातुओं में विद्वान होती है lइसी वजह से जब हम रत्नों को इनमें पिरोकर पहनते हैं, तब रत्नों की ऊर्जा कई गुणा बढ़ जाती है lइसी वजह से हमें विभिन्न प्रकार की रत्नों को विभिन्न धातुओ में पहनने की सलाह दी जाती है, जिससे हमें विविध रुप से अप्रतिम लाभ की प्राप्ति होती है।

जिस प्रकार धातुओं को प्रकृति के द्वारा एक अनमोल संसाधन के रूप में हमें प्रदान किया गया हैl उसी प्रकार हमें विभिन्न प्रकार के महारत्न और रत्नों ,उपरत्नो से प्रकृति ने वरदान के स्वरूप में हमें प्रदान किया है। (neelam ratna pehne ke fayde) विभिन्न प्रकार के रत्न, उपरत्न, ब्रह्मांड के अनेकों ग्रहो ,उपग्रहों से संबंधित होते हैं, तथा ऐसा ज्योतिष शास्त्र के अनुसार माना जाता है, कि जब विविध प्रकार के ग्रहों का गोचर, नक्षत्रों का गोचर, उपग्रहों का गोचर होता है, तब हमारे जीवन में विभिन्न प्रकार के परिणाम देखने को मिलते हैं, जो परिणाम सकारात्मक भी हो सकते हैं, और नकारात्मक भी हो सकते हैं lवैसे तो सभी ग्रहों के गोचर का प्रभाव से लोगों को अधिक दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ता है, किंतु जैसे ही बात शनि ग्रह के गोचर की होती है, तो लोगों के मन में भय बैठ जाता है, क्योंकि सनी को एक मारक ग्रह के नाम से भी जाना जाता है।

शनि ग्रह जिसे दुख, बीमारी, आदि से संबंधित ग्रह माना जाता है, शनि देव सूर्य देव तथा माता छाया की संतान है, किंतु यह पितृ शत्रु है, ऐसा माना जाता है, कि शनि देव और सूर्य देव में बिल्कुल भी नहीं बनती है, तथा उनके आपसी संबंधों में बहुत कड़वाहट भरी हुई है, इसी वजह से जहां सूर्य की रोशनी की आखिरी बिंदु समाप्त होती हैl वहां से शनि ग्रह का साम्राज्य शुरू होता है lशनि ग्रह और सूर्य ग्रह में कांटे की टक्कर होती हैl दोनों एक दूसरे के दुश्मन होते हैं, सूर्य देव के द्वारा जब शनि देव की माता को अपमानित किया गया तिरस्कारित किया गयाl

उस से आहत होकर शनि देव ने भोलेनाथ की आराधना की तथा उनसे इस अनहोनी के लिए उपाय पूछा किंतु भोलेनाथ उनकी तपस्या से इतने प्रसन्न थे कि उन्होंने वरदान स्वरूप उन्हें तीनों लोकों का न्यायाधीश तथा दंडाधिकारी होने का वरदान प्रदान कर दिया lजिनकी दृष्टि से पूरे ब्रह्मांड का कोई भी प्राणी नहीं बच सकता है, सभी के लिए कर्म के लेखे जोखे शनि ग्रह के पास ही होगा तथा वह उन्हें अपने हिसाब से दंड भी प्रदान करेंगे, जो जिस तरह से करेगा उसे वैसा ही फल प्राप्त होगा किंतु इनका दंडित करने का तरीका बिल्कुल अलग होता हैl यह तुक्ष्य से तुक्ष्य गलती को भी नजरअंदाज नहीं करते हैं,एवं हमें दंडित करते हैं, इनके न्याय के डंडे से किसी का भी बचना मुश्किल है, असंभव है, चाहे वह देव हो दानव हो मनुष्य हो या कोई और हो।

शनि ग्रह के विभिन्न प्रभाव से बचने के लिए या उसको कम करने के लिए या उस के नकारात्मक प्रभाव को सकारात्मक प्रभाव में बदलने के लिए नीलम स्टोन (neelam ratna kis dhatu me pahanna chahiye) को धारण किया जाता है, किंतु यह स्टोन जितना आपको ऊंचा ले जा सकता है, उतना नीचे भी गिरा सकता हैl यह जिसे धार जाता है, उसकी किस्मत खुल जाती है, और जिसे नहीं धारता ऐसी परिस्थिति में उसके जीवन में बहुत सी दुर्घटनाएं घटने लगती हैl उसके जीवन में अनेक समस्याएं आने लगती हैं, उस के जीवन में उथल-पुथल मच जाता हैl इस रत्न को बिना किसी विद्वान ज्योतिष की सलाह पर धारण नहीं करना चाहिए अन्यथा परिणाम भयंकर हो सकते हैंl ज्योतिष शास्त्र तथा रत्न विज्ञान के अनुसार नीलम स्टोन या उसके उपरत्न को सोने ,चांदी तथा पंचधातु में जड़वा कर पहना जा सकता है, इससे लोगों को बहुत से लाभ प्राप्त होते हैंl

अभिमंत्रित नीलम स्टोन कहां से प्राप्त करें –

यदि आप भी अभिमंत्रित किया हुआ नीलम स्टोन प्राप्त करना चाहते हैं तो हमारे नवदुर्गा ज्योतिष केंद्र से अभिमंत्रित किया हुआ नीलम स्टोन मात्र – 300₹ और 600₹ रत्ती मिल जायेगा जिसका आपको लैब सर्टिफिकेट और गारंटी के साथ में दिया जायेगा ( Delivery Charges free) Call and WhatsApp on- 7567233021, 9313241098

 

Leave a Reply